कटनी :- बरही का बाणसागर डूब का गांव मनघटा, जहां 100 घरों की बस्ती है। छोटे से गांव से लगभग 40 वर्ष पूर्व एक युवक पढ़ाई का सपना लेकर कटनी शहर आया। पढ़ाई के दौरान ही फोटोग्राफी का शौक लगा। शौक बढ़ा तो उनका सफर चल पड़ा, जो आज 37 वर्ष से लगातार जारी हैं। हम बात कर रहे हैं शहर के वरिष्ठ फोटोग्राफर लालजी शर्मा का। सामान्य फोटोग्राफी से लेकर मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति तक के कार्यक्रमों का कवरेज कर चुके श्री शर्मा ने वर्ष 1984 से फोटोग्राफी के क्षे़त्र में कदम रखा था और विभिन्न अखबारों में काम करने साथ ही जनसंपर्क विभाग में भी वर्ष 1990 से लगातार सेवाएं दे रहे हैं।

कई बार कठिन परिस्थितियों के बीच भी फोटोग्राफर श्री शर्मा ने काम किया है। कटनी के पड़ोसी जिले सतना के मैहर में वर्ष 1997 कर्प्यू लगा था। उस दौरान कटनी से भी अधिकारी मौके पर गए थे। छावनी बने मैहर में मीडिया से जुड़े होने के कारण विषम परिस्थितियों में भी वे डटे रहे और घटना स्थल से लेकर अधिकारियों के साथ हर जगह की फोटोग्राफी की थी। इसके अलावा भी जिले में कई बार विषम परिस्थितियों में उन्होंने अपनी सेवाएं जनसंपर्क विभाग के जरिए दीं।
कोविड की पहली व दूसरी लहर में जब लोग घरों से निकलने में डर रहे थे, ऐसे में लोगों को जागरूक करने के कार्यक्रमों से लेकर अधिकारियों के दौरों में भी वे जोखिम उठाकर कार्य करते रहे हैं। जिसको लेकर हाल में ही स्वतंत्रता दिवस के मुख्य समारोह में श्री शर्मा सम्मानित किए गए हैं तो पहले भी वे चार बार सम्मानित हो चुके हैं।
राष्ट्रपति से लेकर अभिनेता तक हुए हैं कैमरे में कैद
वरिष्ठ फोटोग्राफर लालजी शर्मा अपने 37 साल के फोटोग्राफी के सफर में नेताओं से लेकर अभिनेताओं तक को अपने कैमरे में कैद कर चुके हैं। दमोह में राष्ट्रपति रामनाथ कोविद के कार्यक्रम के अलावा मुख्यमंत्री की सभाओं व कार्यक्रमों के साथ ही पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय चंद्रशेखर के भौगोलिक केन्द्र बिंदु करौंदी व कटनी आगमन के दौरान न सिर्फ श्री शर्मा ने फोटोग्राफी की बल्कि खुद स्वर्गीय चंद्रशेखर ने भी उनके साथ उनके ही कैमरे से फोटो निकलवाई थी। इसके अलावा गायक कुमार शानू, वंदना बाजपेई, जानी लीवर, स्वदेश भोंसले, आशुतोष राणा, रेणुका शहाणे, राजपाल यादव के कटनी आने पर उनकी फोटोग्राफी कर चुके हैं।
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